Income Tax : महिला के घर थे खाने के भी लाले, इनकम टैक्स विभाग ने बताया 100 करोड़ की मालकिन
income tax news :इनकम टैक्स विभाग ने एक चौंकाने वाला मामला खोजा है। एक पाई पाई की मोहताज महिला एक सौ करोड़पति बन गई। इन्कम टैक्स विभाग की टीम ने संपत्ति को कब्जा कर लिया है

The Chopal, income tax news : आयकर विभाग की टीम को जयपुर-दिल्ली हाईवे (Jaipur-Delhi Highway) पर 100 करोड़ से अधिक कीमत की 65 बीघा जमीन मिली है, जिसकी मालकिन एक ऐसी महिला है जिसकी रोटी तक नहीं है।
जयपुर में, इनकम टैक्स विभाग को 100 करोड़ की संपत्ति की मालकिन (income tax department) मिली है जो परिवार चलाने के लिए पाई-पाई की मोहताज है। जयपुर-दिल्ली हाईवे पर 65 बीघा की 100 करोड़ (property news) से अधिक कीमत की जमीन की मालकिन एक आदिवासी महिला है, जिसे इनकम टैक्स विभाग ने पकड़ा है, लेकिन हैरान करने वाली बात यह है कि उस आदिवासी महिला को यह भी पता नहीं है कि उसने जमीन कब खरीदी और कहां पर है। इन जमीन को आयकर विभाग ने अधिग्रहण किया है।
ये बात इनकम टैक्स विभाग की जांच में सामने आई
जयपुर-दिल्ली हाईवे पर दंड गांव में इन जमीन पर आयकर अधिकारियों ने बैनर लगाए हैं। इस बैनर पर लिखा है कि आयकर विभाग बेनामी संपत्ति निषेध अधिनियम के तहत इस जमीन को बेनामी घोषित कर रहा है। 5 गांव में 64 बीघे जमीन पर लगे बैनर पर लिखा है कि जमीन संजू देवी मीणा (Benami Property Prohibition Act) की है। इनकम टैक्स विभाग फौरी तौर पर इस जमीन को अपने हाथ में ले रहा है क्योंकि कोई व्यक्ति इस जमीन का मालिक नहीं हो सकता।
दरअसल, आयकर विभाग को शिकायत मिली कि दिल्ली हाईवे पर बहुत से दिल्ली और मुंबई के उद्योगपति आदिवासियों के नाम पर जमीन खरीद (Complaint to Income Tax Department) रहे हैं। यह सिर्फ कागजों में होता है। कानून कहता है कि आदिवासी ही जमीन खरीद सकते हैं। यह कागजों में खरीदने के बाद अपने लोगों के नाम से पावर ऑफ अटॉर्नी (power of attorney) साइन करा कर रख लेते हैं। जब इनकम टैक्स विभाग ने जमीन के असली मालिक की तलाश शुरू की तो पता चला कि वह राजस्थान के सीकर जिले के नीम के थाना तहसील के दीपावास गांव में (Industrialists of Delhi and Mumbai) रहती है। इस गांव को पहाड़ियों के नीचे पाना मुश्किल है।
टीम जबगांव पहुंची तो संजू देवी मीणा ने बताया कि उसके पति और ससुर मुंबई में काम करते थे। 2006 में जयपुर के आमेर में उसे ले जाकर एक स्थान पर अंगूठा लगवाया (power of attorney) गया था। किंतु उनके पति की मौत को बारह वर्ष हो गए हैं और वह नहीं जानती कि उनकी संपत्ति कहां है या कहां है। पति की मौत के बाद पांच हजार रुपये हर किसी को घर पर दिए जाते थे, जिसमें से ढाई हजार रुपये फुफेरी बहन साथ रखती थी और ढाई हजार रुपये मैं. लेकिन कई साल बीत गए, अब कोई भी पैसे देने नहीं आता। आज ही मुझे पता चला कि मेरे पास इतना धन है।
संजू देवी के पति की मौत के बाद उनके पास कोई आय का स्रोत नहीं है और वे अपने दो बच्चों को पालने के लिए खुद ही काम करती हैं। संजू देवी खेती करने के अलावा पशुपालन भी करती हैं। टैक्स घोषणा के बाद गांव वालों का कहना है कि कई कंपनियों ने यहां जमीन खरीदी है, जिसके बारे में बताया जाता है कि एक कंपनी की है, लेकिन कोई नहीं जानता कि किसकी है।
जानकारी के लिए आपको बता दें कि इनकम टैक्स विभाग ने पिछले कुछ सालों में 1400 करोड़ रुपये की जमीन जब्त की है, जिसमें से 69 मामलों में कोर्ट ने जमीन को इनाम घोषित कर सरकार को दी है।