Chhattisgarh में 3350 गांवों को जोड़ेगी 278 किमी लंबी रेल लाइन, 8 जिलों में बिछेगी नई पटरियां
 

Chhattisgarh New Railway Line: छत्तीसगढ़ में रेलवे इंफ्रास्ट्रक्चर को मजबूती देने की दिशा में केंद्र सरकार की तरफ से बड़ा कदम उठाया गया है। छत्तीसगढ़ में एक और नई रेलवे लाइन बिछाने के लिए 8741 करोड रुपए की मंजूरी दी गई है। इस मल्टी ट्रैकिंग परियोजना से करीब 3350 गांवों को सीधा फायदा पहुंचाने वाला है। छत्तीसगढ़ के अलावा इस रेलवे इंफ्रास्ट्रक्चर के प्रोजेक्ट से अन्य राज्यों के 15 जिलों से होकर रेलवे लाइन गुजरने वाली है।

 
Chhattisgarh में 3350 गांवों को जोड़ेगी 278 किमी लंबी रेल लाइन, 8 जिलों में बिछेगी नई पटरियां

The Chopal : छत्तीसगढ़ और आस-पास के राज्यों के लिए वाकई एक बहुत महत्वपूर्ण और ऐतिहासिक अपडेट है। छत्तीसगढ़ के लिए यह बहुत बड़ी और सकारात्मक खबर है। केंद्र सरकार की तरफ से ₹8741 करोड़ की लागत से नई रेलवे मल्टी-ट्रैकिंग परियोजना को मंजूरी देना राज्य के साथ-साथ पूरे क्षेत्र के विकास की दिशा में मील का पत्थर साबित हो सकता है। चार रेलवे क्षमता निर्माण परियोजनाओं को मंजूरी दी है, जो छत्तीसगढ़ के अलावा अन्य राज्यों के 15 जिलों से गुजरने वाली हैं। 

278 किलोमीटर की एक रेल लाइन बनाने की अनुमति

केंद्र सरकार ने छत्तीसगढ़ के लोगों को बड़ी खुशखबरी दी कि राज्य में 278 किलोमीटर की एक रेल लाइन बनाने की अनुमति दी गई है। रेल मंत्री के इस बयान से साफ है कि खरसिया-नया रायपुर-परमलकसा मार्ग पर रेलवे परियोजना के माध्यम से छत्तीसगढ़ के बलौदा बाजार और आसपास के क्षेत्रों को एक नई जीवनरेखा मिलने जा रही है। शुक्रवार को रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने बताया कि केंद्र सरकार ने राज्य में खरसिया-नया रायपुर-परमलकसा राजमार्ग पर 5वीं और 6वीं लाइन बिछाने के लिए 8741 करोड़ रुपये की परियोजना को मंजूरी दी है।  उनका कहना था कि छत्तीसगढ़ के रायगढ़, जांजगीर-चांपा, सक्ती, बिलासपुर, बलौदा बाजार, रायपुर, दुर्ग और राजनांदगांव जिलों को इस नई लाइन के बिछने से फायदा होगा।

आठ जिलों को इससे लाभ होगा

शुक्रवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में रेलमंत्री वैष्णव ने कहा कि बलौदा बाजार जैसे नए क्षेत्रों को खरसिया-नया रायपुर-परमलकसा मार्ग से सीधी कनेक्टिविटी मिलेगी, जिससे क्षेत्र में सीमेंट संयंत्रों सहित नई औद्योगिक इकाइयों की स्थापना की संभावनाएं बनेंगी। ये रास्ते कृषि उत्पादों, उर्वरक, कोयला, लौह अयस्क, इस्पात, सीमेंट, चूना पत्थर और अन्य सामग्री ले जाते हैं। रेलवे की क्षमता वृद्धि कार्यों से हर साल 887.7 लाख टन अतिरिक्त माल ढुलाई होगी। छत्तीसगढ़ राज्य के आठ जिलों को इससे लाभ होगा। रेलवे, पर्यावरण के अनुकूल और ऊर्जा-कुशल परिवहन साधन होने के कारण, जलवायु लक्ष्यों को पूरा करने, देश की रसद लागत को कम करने, तेल आयात (95 करोड़ लीटर) को कम करने और 19 करोड़ पेड़ लगाने के बराबर कार्बन उत्सर्जन को कम करने में मदद करेगा।

3350 गांवों और लगभग 47.25 लाख आबादी की कनेक्टिविटी बढ़ेगी

वैष्णव ने कहा कि "ये परियोजनाएं मल्टी-मॉडल कनेक्टिविटी के लिए पीएम-गति शक्ति राष्ट्रीय मास्टर प्लान का परिणाम हैं, जो एकीकृत योजना के माध्यम से संभव हो पाई हैं और लोगों की आवाजाही और वस्तुओं तथा सेवाओं के लिए निर्बाध कनेक्टिविटी प्रदान करेंगी। इन परियोजनाओं का उद्देश्य दो आकांक्षी जिलों (गढ़चिरौली और राजनांदगांव) में कनेक्टिविटी को बढ़ाने के लिए 19 नए स्टेशनों का निर्माण करना है। मल्टी-ट्रैकिंग परियोजना से लगभग 3350 गांवों और लगभग 47.25 लाख आबादी की कनेक्टिविटी बढ़ेगी।

छत्तीसगढ़ के अलावा अन्य राज्यों के 15 जिलों से गुजरेगी रेल लाइन

वास्तव में, शुक्रवार को केंद्र सरकार ने चार रेलवे क्षमता निर्माण परियोजनाओं को मंजूरी दी है, जो छत्तीसगढ़ के अलावा अन्य राज्यों के 15 जिलों से गुजरने वाली हैं. इससे मौजूदा नेटवर्क में लगभग 12 सौ किलोमीटर का इजाफा होगा। रेल मंत्रालय की इन चार परियोजनाओं को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में आर्थिक मामलों की मंत्रिमंडल समिति ने मंजूरी दी, जिनकी कुल लागत लगभग 18,658 करोड़ रुपये है। ये चार परियोजनाएं महाराष्ट्र, ओडिशा और छत्तीसगढ़ के 15 जिलों को शामिल करेंगी और भारतीय रेलवे के मौजूदा नेटवर्क को लगभग 1247 किलोमीटर तक बढ़ा देंगी।