आपके घर है यदि पुरानी कार या बाइक, वह लोग पढ़ें ये खबर, मिल जाएगा फायदा

Scrappage Policy in India : क्या स्क्रैप पॉलिसी है? स्क्रैप पॉलिसी के तहत कौन-से वाहन शामिल हैं? क्या राज्य और केंद्र सरकार की स्क्रैप नीतियां अलग हैं? स्क्रैप पॉलिसी के तहत कबाड़ किए जाने वाले पुराने वाहनों की सूची क्या है? सरकार स्क्रैप पॉलिसी को कितना धन देती है? कितने वर्षों के बाद एक पुरानी कार स्क्रैप हो जाती है?

 

Scrappage Policy in India : स्क्रैप पॉलिसी को लेकर आपके मन में कई प्रश्न उठेंगे। जैसे स्क्रैप पॉलिसी? स्क्रैप पॉलिसी के तहत कौन-से वाहन शामिल हैं? क्या राज्य और केंद्र सरकार की स्क्रैप नीतियां अलग हैं? स्क्रैप पॉलिसी के तहत कबाड़ किए जाने वाले पुराने वाहनों की सूची क्या है? सरकार स्क्रैप नीति में कितनी सहायता देती है? कितने वर्षों के बाद एक पुरानी कार स्क्रैप हो जाएगी? जबकि गाड़ी आपकी है और आपने इस्तेमाल भी किया है, तो सरकार को सब्सिडी क्यों दी जाती है? क्या पेट्रोल और डीजल इंजनों को स्क्रैप कहते हैं? इस तरह के प्रश्न आपके मन में उठ रहे हैं, तो यह खबर आपके लिए है।

सबसे पहले जानिए क्या है स्क्रैप पॉलिसी?

आप स्क्रैप पॉलिसी के तहत किसी भी प्रकार की व्यावसायिक कार, बाइक या स्कूटर को स्क्रैप कर सकते हैं। यदि आपकी डीजल या पेट्रोल कार दस या पंद्रह साल पुरानी है, तो आप स्क्रैप पॉलिसी का लाभ उठा सकते हैं। केंद्रीय सरकार की व्हीकल स्क्रैपेज पॉलिसी अनफिट कार को स्क्रैप करना आवश्यक करती है। इस पॉलिसी के तहत पुराने और अयोग्य वाहनों को स्क्रैप कर दिया जाता है, जो पर्यावरण को नुकसान पहुंचाते हैं। 15 और 20 साल की आयु के सभी पुराने कमर्शियल और सार्वजनिक परिवहन के वाहन भी फिटनेस टेस्ट में फेल होने के बाद स्क्रैप में जाएंगे।

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स्क्रैपेज पॉलिसी का उद्देश्य

2021 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने विद्युत स्क्रैपेज नीति की घोषणा की थी। स्क्रैपेज पॉलिसी का लक्ष्य देश में ऑटोमोटिव और मैन्युफैक्चरिंग उद्योगों को बढ़ावा देने और प्रदूषण को कम करना है। जिनके पास कार या बाइक है, उनके लिए यह पॉलिसी आवश्यक है। इस नीति को पूरे देश में लागू करने का ऐलान केंद्र सरकार ने 2021-22 के आम बजट में किया था। इस कानून के तहत लोगों को 15 साल पुरानी पेट्रोल और 10 साल पुरानी गाडिय़ां नहीं चलाना होगा। अगर कोई ऐसी गाड़ी चलाते हुए गिरफ्तार होता है, तो चालान के साथ गाड़ी जब्त कर ली जाएगी और उसे स्क्रैप में भेज दिया जाएगा।

फिटनेस टेस्ट देना अनिवार्य

केंद्रीय सरकार की इस नीति के अनुसार, पुराने वाहनों को फिटनेस टेस्ट से गुजरना चाहिए, जिसके बाद ही वे सड़क पर चल सकेंगे। आप अपनी कार को सड़क पर नहीं ले जा सकते अगर वह फिटनेस टेस्ट पास नहीं करती। आप ऐसी गाड़ियों को रजिस्टर्ड स्क्रैप फैसिलिटी में जमा कर सकते हैं, जिससे आप सब्सिडी पा सकते हैं। स्क्रैपेज पॉलिसी प्रदूषण को कम करती है और फ्यूल एफिशिएंसी को बचाती है। पुराने वाहनों की तुलना में नए वाहनों में अधिक फ्यूल खर्च होता है।

इस पॉलिसी का कितना अमल हो रहा है?

दिल्ली सांख्यिकी पुस्तिका 2023 के अनुसार, इस नीति पर अब तेजी से कार्य किया जा रहा है। 2023 तक दिल्ली में लगभग 55 लाख पुराने वाहनों को डी-रजिस्टर किया जाएगा, जिसका अर्थ है कि इन्हें सड़क पर चलाने की अनुमति नहीं है। 1 लाख 35 हजार से अधिक वाहनों को स्क्रैप किया गया है।

अभी स्क्रैप पॉलिसी में ग्राहकों का लाभ

सरकार ने भी पॉलिसी के तहत चलने वाले ग्राहकों को कुछ फायदे प्रदान किए हैं। यदि कोई अपनी पुरानी गाड़ी को स्क्रैप करवाता है, तो उसे कुछ पैसा मिलेगा। नई गाड़ी खरीदने पर कुछ छूट मिलेगी, यह पैसा कैश में नहीं मिलेगा। नई गाड़ी की कीमत में चार प्रतिशत तक की छूट मिल सकती है। मान लीजिए आप 10 लाख रुपये की कार खरीद रहे हैं, तो आपको स्क्रैप पॉलिसी से 40,000 रुपये तक की छूट मिलेगी। यह छूट अन्य छूट से अलग है। छूट, हालांकि, आपकी पुरानी कार की हालत पर निर्भर करेगी।

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