रेबीज क्या होता है, क्या चाटने से भी फैल जाता है इन्फेक्शन, ये कहते है एक्सपर्ट

रेबीज का अभी भी कोई उपचार नहीं है। बता दे की संक्रमण होने पर निश्चित रूप से आदमी मरता है। दुनिया भर में रेबीज रोग का कोई इलाज नहीं है। लेकिन रेबीज इंजेक्शन लगवाने से सुरक्षित रहा जा सकता है।
 

नई दिल्ली - रेबीज का अभी भी कोई उपचार नहीं है। बता दे की संक्रमण होने पर निश्चित रूप से आदमी मरता है। दुनिया भर में रेबीज रोग का कोई इलाज नहीं है। लेकिन रेबीज इंजेक्शन लगवाने से सुरक्षित रहा जा सकता है। वैक्सीनेशन के बाद मरने की कोई संभावना नहीं है। एक्सपर्ट यह कहते हैं कि किसी भी डॉग को पालने वाले, आरडब्ल्यूए के सदस्य या किसी अन्य संस्था के सदस्य को डॉग का वैक्सीनेशन कराना बहुत ज्यादा जरूरी भी होता हैं।बता दे की अगर डॉग को वैक्सीनेशन लगा होता तो गाजियाबाद में 14 वर्षीय बच्चे की मौत को रोका भी जा सकता था। डॉक्टर ने आम लोगों से भी यह कहा कि गाइडलाइन के मुताबिक, किसी को कुत्ता चाट भी लेने पर 24 घंटे के भीतर रेबीज इंजेक्शन लेना चाहिए।

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वैक्सीनेशन बहुत महत्वपूर्ण है

एलएनजेपी अस्पताल के मेडिकल डायरेक्टर डॉक्टर सुरेश कुमार ने कहा कि कुत्तों को वैक्सीनेशन देना अनिवार्य है, चाहे वे घर में हों या बाहर। वैक्सीनेशन के बाद संक्रमण की संभावना कम होती है। इस संक्रमण से बचाव करना संभव है, लेकिन इसका कोई उपचार नहीं है। डॉक्टर ने कहा कि मैं अपने कुत्ते पालक से अनुरोध करता हूँ कि वे अपने आस-पास के कुत्ते को रेबीज वैक्सीन दें। वैक्सीन देने से खतरा कम हो जाता है।

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हाइड्रोफोबिया का भय

डॉक्टर सुरेश ने कहा कि डॉगी को खरोंच लगे या काट ले तो वैक्सीनेशन लेना होगा। गाइडलाइन में यह है। डॉग बाइट के बाद इस बच्चे को वैक्सीन दी जाती तो उसका जीवन बच सकता था। यही कारण है कि लोगों को भी इसका ध्यान रखना चाहिए। उनका कहना था कि रेबीज संक्रमण से वायरस दिमाग में जाता है। दिमाग को अस्थिर करता है। पीड़ित व्यक्ति को हाइड्रोफोबिया होता है। पानी उसे भयानक लगता है। पीड़ित व्यक्ति को पनि पीने से रोका जाता है। इससे उसका मल्टी ऑर्गन धीरे-धीरे फेल हो जाता है और अंततः मर जाता है।

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