82,400 की बेसिक सैलरी! 8th Pay Commission से DA, HRA, TA मिलाकर मिलेगी इतनी मोटी तनख्वाह

TheChopal: सरकार ने जनवरी में ही आठवें वेतन आयोग को मंजूरी दे दी थी। इसके बाद से सरकारी कर्मचारियों के मन में एक ही सवाल है – आखिर उनकी सैलरी में कितनी बढ़ोतरी होगी? हर कोई यह जानना चाहता है कि नया वेतन आयोग लागू होने के बाद उनकी तनख्वाह पर क्या असर पड़ेगा। कर्मचारी उम्मीद लगाए बैठे हैं कि इस बार उन्हें अच्छी खासी सैलरी बढ़ोतरी देखने को मिलेगी।
असल में, जब कर्मचारियों की नई बेसिक सैलरी तय की जाती है, तो उसमें कई भत्ते भी जोड़ दिए जाते हैं जैसे, महंगाई भत्ता मकान किराया भत्ता और यात्रा भत्ता, इन सभी को जोड़कर ही आपकी हर महीने की कुल सैलरी (Net Salary) तय होती है। तो आइए जानते हैं इस खबर के ज़रिए कि आठवें वेतन आयोग के लागू होने के बाद कर्मचारियों की बेसिक सैलरी कितनी बढ़ सकती है।
8वां वेतन आयोग कब तक लागू हो सकता है?
सरकार आमतौर पर हर 10 साल में कर्मचारियों की सैलरी और सुविधाओं की समीक्षा करती है, इसके लिए सरकार एक विशेष समिति बनाती है, जिसे वेतन आयोग (Pay Commission) कहा जाता है। इस बार 8वां वेतन आयोग बनाया गया है, और जल्द ही इसे लागू भी किया जा सकता है।
इससे पहले जो 7वां वेतन आयोग लागू किया गया था, वह 1 जनवरी 2016 से प्रभावी हुआ था। अगर इसी नियम को देखा जाए तो अब 8वां वेतन आयोग भी 1 जनवरी 2026 से लागू हो सकता है। इस बार खास बात यह है कि लेवल-10 के अधिकारी, जो सरकार के लिए अहम जिम्मेदारियाँ निभाते हैं, उनकी सैलरी में अच्छी-खासी बढ़ोतरी होने की संभावना जताई जा रही है।
फिटमेंट फैक्टर क्या होता है?
फिटमेंट फैक्टर एक ऐसा पैमाना है, जिसकी मदद से कर्मचारियों की बेसिक सैलरी बढ़ाई जाती है। 8वें वेतन आयोग में सबसे ज्यादा चर्चा इसी फिटमेंट फैक्टर को लेकर हो रही है। यह एक तरह से वह गुणा करने वाला आंकड़ा (Multiplier) होता है, जिससे पुराने वेतन को नए वेतन में बदला जाता है। 7वें वेतन आयोग में यह आंकड़ा 2.57 था। यानी पुराने बेसिक वेतन को 2.57 से गुणा करके नया वेतन तय किया गया था। अब सभी की नजरें इस बात पर हैं कि 8वें वेतन आयोग में फिटमेंट फैक्टर कितना होगा और इससे कर्मचारियों की सैलरी में कितनी बढ़ोतरी होगी।
8वें वेतन आयोग को लेकर क्या हैं अटकलें?
हालांकि अभी तक सरकार ने 8वें वेतन आयोग या फिटमेंट फैक्टर को लेकर कोई आधिकारिक घोषणा नहीं की है। लेकिन कर्मचारियों के संगठनों की ओर से लगातार मांगें उठ रही हैं, और इसी आधार पर कई तरह के अनुमान लगाए जा रहे हैं। सूत्रों के मुताबिक, इस बार फिटमेंट फैक्टर करीब 1.92 हो सकता है।
हालांकि यह भी कहा जा रहा है कि सरकार इस बार सैलरी में बहुत बड़ी बढ़ोतरी नहीं करने वाली है। कुछ मीडिया रिपोर्ट्स का कहना है कि यह आंकड़ा 2.08, 2.86 या फिर इससे भी ज्यादा 3.68 तक जा सकता है।
कैसे तय होती है नई बेसिक सैलरी?
जब कोई नया वेतन आयोग लागू होता है, तो सबसे पहले सरकार फिटमेंट फैक्टर तय करती है यह एक ऐसा गुणा करने वाला नंबर (Multiplier) होता है, जिससे कर्मचारी की मौजूदा बेसिक सैलरी को गुणा किया जाता है।
इसी से नई बेसिक सैलरी तय की जाती है।
उदाहरण से समझें:
अगर आपकी मौजूदा बेसिक सैलरी ₹10,000 है और
फिटमेंट फैक्टर 2.57 है,
तो नई सैलरी होगी –
₹10,000 × 2.57 = ₹25,700
अब अगर अगला फिटमेंट फैक्टर 2.86 या 3.68 तय होता है, तो सैलरी और भी ज्यादा बढ़ सकती है।
अभी तय नहीं हुआ है 8वें वेतन आयोग का फिटमेंट फैक्टर फिलहाल 8वें वेतन आयोग (8th Pay Commission) में फिटमेंट फैक्टर कितना होगा, यह तय नहीं हुआ है। हालांकि, एक्सपर्ट्स का मानना है कि यह आंकड़ा इस बार करीब 1.92 के आसपास हो सकता है।
DA, HRA और TA सैलरी में कैसे जुड़ते हैं?
अगर आप सरकारी नौकरी करते हैं, तो आप जानते होंगे कि जैसे ही आपकी नई बेसिक सैलरी तय होती है, उसमें कई तरह के भत्ते (Allowances) जोड़ दिए जाते हैं। ये भत्ते आपकी कुल सैलरी को बढ़ा देते हैं।
इनमें मुख्य रूप से तीन भत्ते होते हैं:
1. महंगाई भत्ता (DA - Dearness Allowance)
यह भत्ता बढ़ती महंगाई से निपटने के लिए दिया जाता है। जब नया वेतन आयोग लागू होता है, तब DA को पहले शून्य (0%) कर दिया जाता है, और फिर इसे नई बेसिक सैलरी पर दोबारा से लागू किया जाता है।
2. मकान किराया भत्ता (HRA - House Rent Allowance)
यह भत्ता उस शहर के हिसाब से मिलता है जहाँ आप नौकरी कर रहे हैं। बड़े शहरों में HRA प्रतिशत ज्यादा होता है, जबकि छोटे शहरों में थोड़ा कम। HRA नई बेसिक सैलरी का एक हिस्सा होता है, जो आमतौर पर 8% से 27% तक हो सकता है।
यात्रा भत्ता क्या होता है?
यात्रा भत्ता (TA - Transport Allowance) सरकारी कर्मचारियों को ऑफिस आने-जाने के खर्च के रूप में दिया जाता है।
यह भत्ता आपकी पे लेवल और पोस्टिंग के शहर पर निर्भर करता है।
इसके अलावा, कुछ और छोटे-मोटे भत्ते भी होते हैं जो आपकी पोस्टिंग और विभाग के हिसाब से मिलते हैं।
जानिए सैलरी से कौन-कौन सी कटौतियां होती हैं
जब आपकी नई बेसिक सैलरी में सारे भत्ते (DA, HRA, TA आदि) जोड़ दिए जाते हैं, तो जो कुल रकम बनती है, उसे ग्रॉस सैलरी (Gross Salary) कहा जाता है।
लेकिन आपको पूरी ग्रॉस सैलरी नहीं मिलती, क्योंकि उसमें से कुछ जरूरी कटौतियां (Deductions) होती हैं:
1. राष्ट्रीय पेंशन योजना (NPS)
आपकी बेसिक सैलरी और DA का 10% हिस्सा NPS में जमा होता है।
2. आयकर (Income Tax)
आपकी सालाना आय के आधार पर टैक्स काटा जाता है।
3. प्रोफेशनल टैक्स
कुछ राज्यों में यह टैक्स भी सैलरी से काटा जाता है।
इन कटौतियों के बाद जो सैलरी आपके खाते में आती है, उसे ही नेट सैलरी (In-hand Salary) कहा जाता है।
पिछले वेतन आयोगों में कितनी बढ़ी थी सैलरी?
वेतन आयोग फिटमेंट फैक्टर वेतन में बढ़ोतरी न्यूनतम वेतन
2nd CPC – 14.2% ₹70
3rd CPC – 20.6% ₹196
4th CPC – 27.6% ₹750
5th CPC – 31% ₹2550
6th CPC 1.86 54% ₹7000
7th CPC 2.57 14.29% ₹18000
8th CPC 1.92 – 2.86 अनुमानित पता नहीं
सैलरी का अनुमान कैसे लगाएं?
जब तक 8वां वेतन आयोग पूरी तरह लागू नहीं होता और सरकार इसकी पुष्टि नहीं करती, तब तक आप सैलरी कैलकुलेटर की मदद से अपनी संभावित सैलरी का अनुमान लगा सकते हैं। खासतौर पर लेवल-10 के अधिकारियों की सैलरी में अच्छी बढ़ोतरी की उम्मीद है। जैसे ही आयोग की सिफारिशें आएंगी और सरकार मंजूरी देगी, फिटमेंट फैक्टर और भत्तों की सही जानकारी मिल सकेगी। तब तक आप अनुमान लगाकर तैयार रह सकते हैं।