The Chopal

UP के इन जिलों में हाईवे होगा चौड़ा, 30 गावों की जमीन होगी अधिग्रहण

UP News : उत्तर प्रदेश के इस हाईवे के चौड़ीकरण के लिए 30 गांवों की जमीन अधिग्रहण होना हैं। इस हाईवे के चौड़ीकरण से आवागमन काफी ज्यादा आसान भी होगा। निर्माण के लिए पिछले दिनों पहले टेंडर हो चुके हैं। इस खबर में जमीन अधिग्रहण के बारे में विस्तार से पढ़ें - 

   Follow Us On   follow Us on
UP के इन जिलों में हाईवे होगा चौड़ा, 30 गावों की जमीन होगी अधिग्रहण

Uttar Pradesh News : मथुरा हाईवे को बदायूं, अलीगढ़ और बरेली से वाया बनाने के लिए जमीन के अधिग्रहण की प्रक्रिया धीमी है। 31 मार्च 2023 तक जमीन अधिग्रहण पूरा होना था, लेकिन अब तक दस प्रतिशत जमीन भी अधिग्रहीत नहीं हुई है। इससे राजमार्ग का निर्माण शुरू होने में देरी होगी। यह स्थिति है जब निर्माण के लिए  पिछले दिनों पहले टेंडर हो चुके हैं। निर्माण शुरू करने के लिए अभी 80 प्रतिशत जमीन नहीं है।

जीआर इंफ्राटेक लिमिटेड को दो महीने पहले बरेली-मथुरा नेशनल हाईवे 530 बी की चौड़ीकरण की जिम्मेदारी दी गई। नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया (एनएचएआई) और भूमि अध्यापित अधिकारियों ने कई समीक्षा बैठकों में 31 मार्च तक जमीन अधिग्रहण पूरा होने का दावा किया था, लेकिन अभी सिर्फ 10 प्रतिशत जमीन अधिग्रहण हुआ है।

ये पढ़ें - Chanakya Niti : इन लोगों के पास नहीं रुकता एक भी पैसा, जिंदगी भर रहते हैं दुखी

NHAI को तीस गांवों से 115 हेक्टेयर जमीन चाहिए। किसानों को 545 करोड़ रुपये का भुगतान करना होगा। अब तक 1.5 करोड़ ही बांटे गए हैं। अधिकारियों ने दावा किया है कि लगभग 60 प्रतिशत जमीन अधिग्रहण की प्रक्रिया पूरी हो चुकी है, लेकिन अधिग्रहण केवल तब माना जाता है जब किसान के खाते में जमीन का पैसा क्रेडिट हो जाएगा।

30 में 26 गांव की जमीनें की जा चुकी हैं अधिगृहीत

सिटी मजिस्ट्रेट और विशेष भूमि अध्यापित अधिकारी अरुण कुमार ने बताया कि 30 में 26 गांवों को भूमि अधिग्रहण का पुरस्कार मिला है। अब केवल छह गांव रह गए हैं। किसानों के कागज लेने और पूरी प्रक्रिया पूरी होने में काफी समय लगता है। लेकिन तहसील टीम एकजुट है। मुआवजे का वितरण करते हुए जल्दी से जल्दी अधिग्रहण भी होगा।

यह होना है कार्य 

NHAI द्वारा मथुरा हाईवे को बरेली से 265 किलोमीटर तक बढ़ाना है। इसके तीसरे चरण में बदायूं जिले में 2009.11 करोड़ रुपये की लागत से काम किया जाना है। इसमें सड़कों को चौड़ी करने से लेकर ओवरब्रिज, अंडरपास और बाईपास तक शामिल हैं। NHAI के परियोजना निदेशक उत्कर्ष शुक्ला ने बताया कि कार्यदायी संस्था का चयन करीब दो महीने पहले हुआ था। जैसे ही जमीन अधिग्रहण कार्य 80 प्रतिशत से अधिक हो जाएगा। बाद में कार्यदायी संस्था से काम करने की अनुमति दी जाएगी।

ये पढ़ें - UP CM योगी का डीपफेक वीडियो वायरल, अब दर्ज हुई FIR, सोशल मिडिया कंपनी से मांगा जवाब