Indian Currency : 100 रुपये के नोट छपी है जो पर्वत की फोटो, इस फेमस जगह की है तस्वीर
Indian Currency :भारत के नोटों और सिक्कों का इतिहास दिलचस्प है। हालांकि, भारत में सिक्कों का चलन तो हजारों वर्षों से रहा है, लेकिन Note के रूप में मुद्रा का चलन ज्यादा पुराना नहीं है. भारत को मुद्रा में कई तरह की विशेषताएं देखने को मिलती है... लेकिन क्या आप ये जानते है कि आखिर 100 रुपये के नोट के पीछे छपी पर्वत की तस्वीर कहां से ली गई है-

The Chopal, Indian Currency : भारतीय मुद्रा का रोचक और प्राचीन इतिहास है। वर्तमान में, रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (Reserve Bank of India) सभी मुद्रा (धातु के सिक्के और कागज के नोट) संचालित करता है। मुद्रा चलन भी हजारों साल पुराना है, जैसा कि भारतीय सभ्यता है। भारत में 2000 वर्ष पूर्व से सिक्कों का उपयोग हुआ है, जो समय के साथ विकसित हुआ है।
भारत के नोटों और सिक्कों का इतिहास दिलचस्प है। हालांकि, भारत में सिक्कों का चलन तो हजारों वर्षों से रहा है, लेकिन Note के रूप में मुद्रा का चलन ज्यादा पुराना नहीं है. भारत की मुद्रा में कई विशेषताएं हैं। इससे मुद्रा का मूल्य नहीं बढ़ता है, लेकिन इससे इसका महत्व बहुत बढ़ता है।
1969 में प्रकाशित गांधीजी की तस्वीर-
आजकल हर भारतीय करेंसी नोट पर गांधीजी की तस्वीर है। 1969 में महात्मा गाँधी की तस्वीर नोटों पर पहली बार छापी गई। 1969 में भारतीय रिज़र्व बैंक ने महात्मा गाँधी की फोटो छापी। उस चित्र में जन्मशती स्मारक डिजायन (Birth Centenary Memorial Design) और सेवाग्राम आश्रम भी था। अशोक स्तंभ पहले भारतीय नोटों पर दिखाई देता था। क्या आप बता सकते हैं कि चित्र पर भारतीय मुद्रा का 100 का नोट किस पहाड़ का चित्र है? अगर ऐसा नहीं है, तो आज हम आपको बताते हैं..।
यह चित्र किस पर्वत श्रृंखला का है?
100 रुपये के नोट पर कंचनजंगा पर्वत की छवि है, जो विश्व का तीसरा सबसे ऊंचा पर्वत है. पेलिंग, सिक्किम से वह जेल में है। भारत का एक प्रमुख पर्वत कंचनजंगा है, जो सिक्किम की प्राकृतिक सुंदरता का प्रतीक है। सिक्किम, भारत का एक छोटा लेकिन खूबसूरत राज्य है, जो पर्यटन के लिए जाना जाता है।
कंचनजंघा पहाड़ियों के बारे में-
नेपाली में कंचनजंघा पर्वत को कंचनजंघा, अंग्रेजी में Kanchanjaŋghā और लिम्बू में सेवालुंगमा कहा जाता है। यह पर्वत भारत के सिक्किम राज्य के उत्तर पश्चिम में नेपाल की सीमा पर है। विश्व का तीसरा सबसे ऊंचा पर्वत कंचनजंघा है। यह हिमालय पर्वत श्रृंखला का एक हिस्सा है, जिसकी ऊंचाई 8,586 मीटर है।