UP में शराब के शौकीनों को होगी परेशानी, महंगी होगी शराब, योगी कैबिनेट लेगी बड़ा फैसला
UP News : उत्तर प्रदेश सरकार की अगली कैबिनेट बैठक में आबकारी विभाग को लेकर एक महत्वपूर्ण फैसला लिया जा सकता है। ये खबर शराब पीने वालों के लिए कुछ मुश्किल हो सकती है। सूत्रों के अनुसार, आबकारी विभाग ने राजस्व बढ़ाने के लिए प्रयास होगा।

Uttar Pradesh News : उत्तर प्रदेश सरकार की अगली कैबिनेट बैठक में आबकारी विभाग से जुड़े कुछ अहम फैसले लिए जा सकते हैं। इस बैठक में शराब की कीमतों में बढ़ोतरी को लेकर प्रस्ताव पर मुहर लग सकती है, जिससे शराब के शौकीनों की जेब पर असर पड़ सकता है।
उत्तर प्रदेश सरकार की अगली कैबिनेट बैठक में आबकारी विभाग की नीतियों को लेकर महत्वपूर्ण निर्णय लिए जा सकते हैं। सरकार को प्रस्ताव आबकारी विभाग से भेजा गया है। सरकार नई आबकारी व्यवस्था बना सकती है। इससे यूपी में शराब की कीमतें बढ़ सकती हैं। सरकार के इस फैसले का शराब कारोबारियों पर क्या असर होगा?
इस आबकारी नीति में क्या संभावनाएं हैं?
सरकारी सूत्रों का कहना है कि शराब कारोबारियों को राहत देने के लिए सरकार नई नीति में कोई महत्वपूर्ण बदलाव नहीं करेगी और पुराने लाइसेंसों को नवीनीकरण की अनुमति दे सकती है। यही कारण है कि शराब के फुटकर व्यापारी राज्य स्तर पर अपने लाइसेंसों को नवीन करने की मांग कर रहे हैं।
पुरानी पॉलिसी बदल सकती है
उत्तर प्रदेश सरकार की आबकारी विभाग ने राजस्व को बढ़ाने के लिए पुराने लाइसेंसों को नवीनीकरण की जगह पर ई-टेंडरिंग को लागू करने की योजना बनाई है। नई नीति को देर से लाया जा सकता है, इसलिए पुरानी नीति को कुछ बदलावों के साथ फिर से लाया जा सकता है। अवैध शराब की बिक्री पर कड़े दंड लगाए जा सकते हैं और शराब की कीमतें बढ़ सकती हैं अगर ये नीति लागू होती है। इस बार पुरानी नीति को केवल आंशिक बदलाव के साथ प्रस्तुत किया जाएगा।
आबकारी नीति अब तक दिसंबर या जनवरी में पेश की जाती है
नए वित्तीय वर्ष के लिए सरकार दिसंबर या जनवरी में नई आबकारी नीति प्रस्तुत करती रही है, लेकिन इस बार महाकुंभ की व्यस्तता के चलते अभी तक ऐसा नहीं हुआ है। ऐसे में सरकार जल्दबाजी में पुराने लाइसेंसों को नवीनीकरण दे सकती है, बिना किसी बड़े परिवर्तन की आवश्यकता हो।
सरकार को सबसे अधिक आय
उत्तर प्रदेश सरकार में सबसे ज्यादा राजस्व देने वाला विभाग आबकारी विभाग है। उत्तर प्रदेश में आबकारी विभाग ने चालू वित्तीय वर्ष में 29,000 शराब की फुटकर दुकानों को लाइसेंस दिया। 5,900 बीयर, 16,400 देशी और 6,700 अंग्रेजी दुकानों हैं। सरकार ने आबकारी विभाग को 58,310 करोड़ रुपये का राजस्व इकट्ठा करने का लक्ष्य दिया था, लेकिन पिछले दिसंबर तक विभाग ने 3983.22 करोड़ रुपये का राजस्व वसूली किया था। विभाग लक्ष्य को वित्तीय वर्ष की समाप्ति तक पूरा करने की उम्मीद करता है। अब राज्य का नया बजट जल्द ही आने वाला है। यह देखते हुए, आबकारी विभाग नई नीति बनाने में व्यस्त है