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Rajasthan : राज्य के इन जिलों में बिछेंगी 8 नई रेलवे लाइनें, 7 का होगा दोहरीकरण

Rajasthan Latest News : उत्तर पश्चिम रेलवे को लोकसभा में प्रस्तुत अंतरिम बजट में 9714.28 करोड़ रुपये का बजट दिया गया है। मोदी सरकार ने राजस्थान के विकास के लिए समर्पित धनराशि दी है। प्रदेश में आठ नई रेल लाइनें बनाई जाएंगी और सात रेल लाइनों को दोहराया जाएगा। 152 किमी मारवाड़-मावली रेलवे खंड का गेज बदलने के लिए 75 करोड़ रुपये दिए गए हैं। कई रेलवे खंडों को विद्युतीकरण करने के लिए 990 करोड़ रुपये की व्यवस्था की गई है।

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Rajasthan : राज्य के इन जिलों में बिछेंगी 8 नई रेलवे लाइनें, 7 का होगा दोहरीकरण

Rajasthan News : उत्तर पश्चिम रेलवे को लोकसभा में प्रस्तुत बजट में इंफ्रास्ट्रक्चर, यात्री सुविधाओं और रेल परियोजनाओं को सुदृढ़ करने के लिए 9714.28 करोड़ रुपये का बजट दिया गया है। पिछले वर्ष 8636.85 करोड़ रुपये से यह 12.47 करोड़ रुपये अधिक है। बजट में नई लाइनों के लिए 1438 करोड़ रुपये, गेज परिवर्तन के लिए 129 करोड़ रुपये और डबलिंग के लिए 925 करोड़ रुपये शामिल हैं। राजस्थान में आठ नई रेल लाइनें बनाई जाएंगी और सात रेल लाइनों को दोहराया जाएगा। 152 किमी मारवाड़-मावली रेलवे खंड का गेज बदलने के लिए 75 करोड़ रुपये दिए गए हैं। कई रेलवे खंडों को विद्युतीकरण करने के लिए 990 करोड़ रुपये की व्यवस्था की गई है।

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उत्तर पश्चिम रेलवे ने रेलवे का आधारभूट ढांचा मजबूत करने, रेलवे की सुरक्षा करने और यात्री सुविधाओं को प्रदान करने पर खास ध्यान दिया है। वर्ष 2024–25 के बजट में उत्तर पश्चिम रेलवे 4 के लिए नई रेल लाइनों, डबलिंग और यात्री सुविधाओं, ट्रैक की सुरक्षा, सड़क सुरक्षा के लिए रोड ओवर ब्रिज और रोड अंडर ब्रिज का निर्माण सहित कई कार्यों के लिए बजट रखा गया है।

इस वर्ष बजट में इंफ्रास्ट्रक्चर के लिए 1625 करोड़ रुपये से अधिक की धनराशि दी गई है। इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट में आरओबी और आरयूबी, सिग्नल, दूरसंचार, ब्रिज निर्माण और यात्री सुविधाओं का विस्तार शामिल हैं. रेलवे ट्रैक का नवीनीकरण भी शामिल है। इस वर्ष बजट में ट्रैक की मरम्मत के लिए सबसे अधिक 700 करोड़ रुपये खर्च किए गए हैं। इसके अलावा, आरओबी और आरयूबी के लिए 558 करोड़ रुपये, 261 करोड़ रुपये सिग्नल और दूरसंचार संबंधी कार्यों के लिए, 52 करोड़ रुपये पुल निर्माण के लिए और 28 करोड़ रुपये क्रॉसिंग लेवल फाटकों पर इंफ्रास्ट्रक्चर का विकास। 

इतना ही नहीं, इस वर्ष यात्री सुविधाओं पर 750 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। साथ ही, यातायात सुविधाओं, रोलिंग स्टॉक और कर्मचारी कल्याण के लिए 31 करोड़ रुपये का बजट निर्धारित किया गया है।

ये 8 नई रेल लाइन बिछेंगी

दौसा – गंगापुरसिटी लाइन (92.67 किमी): इस परियोजना का बजट 300 करोड़ रुपए है, और इससे दौसा से गंगापुरसिटी तक सुरक्षित और तेज यातायात सुनिश्चित होगा।

रतलाम-डूंगरपुर लाइन (176.47 किमी): इस परियोजना की लागत 150 करोड़ रुपए है, और यह रतलाम से डूंगरपुर तक सुरक्षित और तेज यातायात को संभालेगी।

अजमेर कोटा लाइन (145 किमी): इस परियोजना का बजट 50 करोड़ रुपए है और इससे अजमेर से कोटा तक कई शहरों को जोड़ा जाएगा।

पुष्कर – मेड़ता लाइन (59 किमी): इस परियोजना का बजट 50 करोड़ रुपए है और इससे पुष्कर से मेड़ता तक सुरक्षित और तेज यातायात सुनिश्चित होगा।

अजमेर-नसीराबाद लाइन (145 किमी): इस परियोजना की लागत 100 करोड़ रुपए है, और इससे अजमेर से नसीराबाद तक सुरक्षित और तेज यातायात सुनिश्चित होगा।

तारंगाहिल-आबूरोड लाइन (89.39 किमी): इस परियोजना का बजट 300 करोड़ रुपए है, और इससे तारंगाहिल से आबूरोड़ तक तेज और सुरक्षित यातायात होगा।

नीमच – बड़ी सादड़ी लाइन (48.30 किमी): इस परियोजना की लागत 100 करोड़ रुपए है, और इससे नीमच से बड़ी सादड़ी तक सुरक्षित और तेज यातायात सुनिश्चित होगा।

गुढ़ा ठठाना-मीठडी लाइन (25 किमी): इस परियोजना का बजट 120 करोड़ रुपए है, और इससे गुढ़ा ठठाना से मीठडी तक सुरक्षित और तेज यातायात होगा।

इन 7 लाइनों का होगा दोहरीकरण

फुलेरा – डेगाना लाइन (108.75 किमी): इस परियोजना की लागत 240 करोड़ रुपए है, और इससे फुलेरा से डेगाना तक सुरक्षित और तेज यातायात सुनिश्चित होगा।

डेगाना-राई का बाग लाइन (145 किमी): इस परियोजना की लागत 22 करोड़ रुपए है, और इससे डेगाना से राई का बाग तक सुरक्षित और तेज यातायात सुनिश्चित होगा।

जयपुर सवाई माधोपुर लाइन (131.27 किमी): इस परियोजना का बजट 100 करोड़ रुपए है, और इससे जयपुर से सवाई माधोपुर तक सुरक्षित और तेज यातायात सुनिश्चित होगा।

अजमेर-चित्तौड़गढ़ लाइन (186 किमी): इस परियोजना की लागत 105 करोड़ रुपए है, और इससे अजमेर से चित्तौड़गढ़ तक सुरक्षित और तेज यातायात सुनिश्चित होगा।

सवाई माधोपुर बायपास लाइन (6.98 किमी): इस परियोजना का बजट 160 करोड़ रुपए है, और इससे सवाई माधोपुर के चारों ओर सुरक्षित और तेज यातायात सुनिश्चित होगा।

चूरू रतनगढ़ लाइन (42.81 किमी): इस परियोजना की लागत 200 करोड़ रुपए है, और इससे चूरू से रतनगढ़ तक सुरक्षित और तेज यातायात सुनिश्चित होगा।

मनहेरू बवानी खेड़ा लाइन (31.50 किमी): इस परियोजना की लागत 40 करोड़ रुपए है, और इससे मनहेरू से बवानी खेड़ा तक सुरक्षित और तेज यातायात सुनिश्चित होगा।

काठूवास-नारनौल लाइन (24.12 किमी): इस परियोजना की लागत 50 करोड़ रुपए है, और इससे काठूवास से नारनौल तक सुरक्षित और तेज यातायात सुनिश्चित होगा।

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