UP में सोलर पंप पर मिलेगी 60% की सब्सिडी, किसानों को डीजल खर्च से मिलेगा छुटकारा
UP News: बढ़ती महंगाई के इस दौर में किसानों के लिए खेती करना पहले की तुलना में कहीं ज्यादा महंगा हो गया है। बीज, खाद, कीटनाशक और सबसे अहम और सिंचाई की लागत में लगातार इजाफा हो रहा है, जिससे किसानों को जीवनयापन में काफी कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है।
Uttar Pradesh News : आज के बढ़ते महंगाई के दौर में किसानों को खेती करने की लागत में बढ़ोतरी की चलते जीवनयापन करने में काफी दिक्कत होगा सामना करना पड़ता है. उत्तर प्रदेश में किसानों के लिए योगी सरकार की तरफ से कल्याणकारी योजना चलाई जा रही है. जो भी किसान प्रदेश में बढ़ते सिंचाई की लागत से परेशान है उनके लिए यह एक खास मौका रहने वाला है. प्रदेश में अब तक 93 हजार से ज्यादा किसानों ने इस सब्सिडी योजना का फायदा उठा लिया है. अगर आप भी इस महत्वपूर्ण योजना का फायदा लेना चाहते हैं तो आगे आर्टिकल में आपको पूरी जानकारी मिलने वाली है.
60 प्रतिशत तक की बड़ी सब्सिडी
अगर आप उत्तर प्रदेश के किसान हैं और बढ़ती हुई सिंचाई की लागत आपको परेशान करती है, तो आपके लिए एक शानदार अवसर है। यदि आप राज्य सरकार की सोलर पंप योजना का लाभ उठाकर खेती करते हैं तो आप डीज़ल पर निर्भरता कम कर सकते हैं। योगी सरकार की प्रधानमंत्री किसान ऊर्जा सुरक्षा एवं उत्थान महाभियान योजना के तहत किसानों को सोलर पंप खरीदने पर 60 प्रतिशत तक की बड़ी सब्सिडी दी जा रही है।
क्या हैं योग्यता की आवश्यकताएं?
किसानों को सोलर पंप के लिए आवेदन करने से पहले यह सुनिश्चित करना होगा कि उसके पास बोरिंग उपलब्ध है। सरकार ने विभिन्न क्षमता के पंपों के लिए बोरिंग मानक निर्धारित किए हैं; उदाहरण के लिए, 2 HP सोलर पंप में 4 इंच की बोरिंग होनी चाहिए। 3 HP और 5 HP के सोलर पंपों के लिए 6 इंच की बोरिंग आवश्यक है। 7.5 एचपी और 10 एचपी सोलर पंपों के लिए भी 8 इंच की बोरिंग आवश्यक है। इसके अलावा, पानी का स्तर बोरिंग में पर्याप्त होना चाहिए, ताकि पंप सही तरह से काम करे। प्रदेश के सभी जिलों और विकास खंडों में यह योजना लागू है, और प्रत्येक क्षेत्र के लिए विशिष्ट लक्ष्य निर्धारित किए गए हैं। इस सब्सिडी योजना से अब तक 93 हजार से अधिक किसानों ने लाभ उठाया है।
आवेदन कैसे करें
किसानों को इस योजना का लाभ उठाने के लिए कृषि विभाग के आधिकारिक पोर्टल, agridarshan.up.gov.in पर ऑनलाइन आवेदन करना होगा। यह पहले आओ, पहले पाओ मॉडल पर आधारित होगा। आवेदन प्रक्रिया को पारदर्शी बनाने के लिए टोकन सिस्टम का उपयोग किया गया है। किसानों को ऑनलाइन आवेदन करते समय पांच हजार रुपये की टोकन मनी जमा करनी होगी। बाद में यह राशि बदल दी जाती है।
लागत कम करने की योजना
कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही ने कहा कि किसानों को प्रधानमंत्री किसान ऊर्जा सुरक्षा एवं उत्थान महाभियान योजना के तहत फसल उत्पादन लागत को कम करने और जल संरक्षण की दिशा में कदम बढ़ाने का अधिकार है। इससे आय में वृद्धि होगी और सिंचाई के लिए डीजल पर निर्भरता कम होगी. इससे किसानों को मुफ्त और सस्ती बिजली मिलेगी, जो पर्यावरण को सुरक्षित रखेगी और जलवायु परिवर्तन को कम करेगी।
