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Delhi NCR Property : घरों की बढ़ती कीमतों के वाबजूद धड़ाधड़ हो रही बिक्री, जानिये दिल्ली एनसीआर के रेट

घरों की बिक्री में तेज वृद्धि हुई है। यह उछाल घरों की बढ़ती कीमतों, उच्च ब्याज दरों और प्रतिकूल वैश्विक हालात के कारण हुआ है।आइए इसके बारे में विस्तार से जानें।

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Delhi NCR Property : घरों की बढ़ती कीमतों के वाबजूद धड़ाधड़ हो रही बिक्री, जानिये दिल्ली एनसीआर के रेट

The Chopal : इस वर्ष देश के सात प्रमुख शहरों में घरों की बिक्री 31 प्रतिशत बढ़कर 4.77 लाख इकाई हो गई। यह बढ़ोतरी उच्च ब्याज दरों और औसतन 15% की कीमतों के बावजूद हुई। इस जानकारी को रियल एस्टेट सलाहकार एनारॉक ने प्रदान किया है। गुरुवार को एनारॉक ने सात बड़े शहरों के आवासीय बाजार के वार्षिक आंकड़े जारी किए। आंकड़े बताते हैं कि इस कैलेंडर में आवासीय बिक्री 4,76,530 इकाई रही। यह पिछले कैलेंडर वर्ष की सबसे अधिक बिक्री है। 2022 में 3,64,870 इकाइयाँ बेची गईं।

विपरीत परिस्थितियों के बावजूद बढ़ी बिक्री

एनारॉक के चेयरमैन अनुज पुरी ने कहा, ‘‘नकारात्मक वैश्विक रुख, घरेलू संपत्ति की बढ़ती कीमतों और इस साल की पहली छमाही में ब्याज दरों में बढ़ोतरी के बावजूद 2023 भारतीय आवासीय क्षेत्र के लिए बेहतरीन रहा.’’उन्होंने कहा कि शीर्ष सात शहरों में आवासीय बिक्री 2022 के पिछले उच्च स्तर को पार कर गई. पुरी ने कहा कि आशंका थी कि संपत्ति की बढ़ती कीमतों और ब्याज दरों के साथ-साथ वैश्विक बाजार की अनिश्चितताएं आवासीय बिक्री को प्रभावित करेंगी, हालांकि उच्च मांग बनी रही.

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कहां बिके सबसे ज्यादा घर

आंकड़ों के अनुसार, शीर्ष सात शहरों में मुंबई महानगर क्षेत्र (एमएमआर) में सबसे अधिक बिक्री दर्ज की गई. दूसरे नंबर पर पुणे रहा. एमएमआर में बिक्री 40 प्रतिशत बढ़कर 1,53,870 इकाई रही, जो पिछले साल 1,09,730 इकाई थी. पुणे में आवासीय बिक्री 52 प्रतिशत बढ़कर 86,680 इकाई रही, जो पिछले साले 57,145 इकाई थी. दिल्ली-राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (एनसीआर) में बिक्री केवल तीन प्रतिशत बढ़कर 65,625 इकाई रही, पिछले साल यह 63,710 इकाई रही थी.

बेंगलुरु में आवासीय बिक्री पिछले साल 49,480 इकाइयों की तुलना में 29 प्रतिशत बढ़कर 63,980 इकाई रही. कोलकाता में बिक्री नौ प्रतिशत बढ़कर 21,220 इकाई से 23,030 इकाई हो गई. चेन्नई में बिक्री पिछले कैलेंडर वर्ष में 16,100 इकाइयों से इस वर्ष 34 प्रतिशत बढ़कर 21,630 इकाई हो गई. रियल एस्टेट सलाहकार के अनुसार, कच्चे माल की लागत में वृद्धि और मजबूत मांग के कारण इन सात शहरों में आवासीय कीमत 10 से 24 प्रतिशत तक बढ़ीं. घरों की बिक्री में तेज वृद्धि हुई है। यह उछाल घरों की बढ़ती कीमतों, उच्च ब्याज दरों और प्रतिकूल वैश्विक हालात के कारण हुआ है।आइए इसके बारे में विस्तार से जानें।

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इस वर्ष देश के सात प्रमुख शहरों में घरों की बिक्री 31 प्रतिशत बढ़कर 4.77 लाख इकाई हो गई। यह बढ़ोतरी उच्च ब्याज दरों और औसतन 15% की कीमतों के बावजूद हुई। इस जानकारी को रियल एस्टेट सलाहकार एनारॉक ने प्रदान किया है। गुरुवार को एनारॉक ने सात बड़े शहरों के आवासीय बाजार के वार्षिक आंकड़े जारी किए। आंकड़े बताते हैं कि इस कैलेंडर में आवासीय बिक्री 4,76,530 इकाई रही। यह पिछले कैलेंडर वर्ष की सबसे अधिक बिक्री है। 2022 में 3,64,870 इकाइयाँ बेची गईं।

विपरीत परिस्थितियों के बावजूद बढ़ी बिक्री

एनारॉक के चेयरमैन अनुज पुरी ने कहा, ‘‘नकारात्मक वैश्विक रुख, घरेलू संपत्ति की बढ़ती कीमतों और इस साल की पहली छमाही में ब्याज दरों में बढ़ोतरी के बावजूद 2023 भारतीय आवासीय क्षेत्र के लिए बेहतरीन रहा.’’उन्होंने कहा कि शीर्ष सात शहरों में आवासीय बिक्री 2022 के पिछले उच्च स्तर को पार कर गई. पुरी ने कहा कि आशंका थी कि संपत्ति की बढ़ती कीमतों और ब्याज दरों के साथ-साथ वैश्विक बाजार की अनिश्चितताएं आवासीय बिक्री को प्रभावित करेंगी, हालांकि उच्च मांग बनी रही.

कहां बिके सबसे ज्यादा घर

आंकड़ों के अनुसार, शीर्ष सात शहरों में मुंबई महानगर क्षेत्र (एमएमआर) में सबसे अधिक बिक्री दर्ज की गई. दूसरे नंबर पर पुणे रहा. एमएमआर में बिक्री 40 प्रतिशत बढ़कर 1,53,870 इकाई रही, जो पिछले साल 1,09,730 इकाई थी. पुणे में आवासीय बिक्री 52 प्रतिशत बढ़कर 86,680 इकाई रही, जो पिछले साले 57,145 इकाई थी. दिल्ली-राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (एनसीआर) में बिक्री केवल तीन प्रतिशत बढ़कर 65,625 इकाई रही, पिछले साल यह 63,710 इकाई रही थी.

बेंगलुरु में आवासीय बिक्री पिछले साल 49,480 इकाइयों की तुलना में 29 प्रतिशत बढ़कर 63,980 इकाई रही. कोलकाता में बिक्री नौ प्रतिशत बढ़कर 21,220 इकाई से 23,030 इकाई हो गई. चेन्नई में बिक्री पिछले कैलेंडर वर्ष में 16,100 इकाइयों से इस वर्ष 34 प्रतिशत बढ़कर 21,630 इकाई हो गई. रियल एस्टेट सलाहकार के अनुसार, कच्चे माल की लागत में वृद्धि और मजबूत मांग के कारण इन सात शहरों में आवासीय कीमत 10 से 24 प्रतिशत तक बढ़ीं.