1950 में लगता था इतना इनकम टैक्स, 90 प्रतिशत लोगों को नहीं पता
The Chopal : लोकसभा चुनाव के चलते इस बार वित्त मंत्री की तरफ से अंतरिम बजट पेश किया जाएगा. पूर्ण बजट सरकार के गठन के बाद जुलाई में पेश किया जाएगा. हर बार के बजट से पहले सबसे ज्यादा चर्चा नौकरीपेशा के बीच टैक्स स्लैब को लेकर रहती है. इस पर बजट से पहले और बाद में हर आम और खास के बीच चर्चा रहती है. इस बार भी 1 फरवरी 2024 को पेश होने वाले अंतरिम बजट से पहले सैलरीड क्लॉस टैक्स स्लैब में बदलाव की मांग कर रहा है. इसके साथ ही हेल्थ इंश्योरेंस के प्रीमियम पर भी ज्यादा छूट देने की मांग की जा रही है. लेकिन क्या आपको पता है कि साल 1950 में कितना इनकम टैक्स लिया जाता था और यह भारतीयों से कब से लिया जा रहा है? आइए जानते हैं यह रोचक जानकारी-
वित्त मंत्री कर सकती हैं बड़ा ऐलान
टैक्सपेयर्स की तरफ से उम्मीद की जा रही है कि इनकम टैक्स स्लैब को लेकर इस बार वित्त मंत्री की तरफ से कुछ बड़ा ऐलान किया जा सकता है. पिछले साल वित्त मंत्री ने न्यू टैक्स रिजीम के तहत 7 लाख रुपये तक की आमदनी को टैक्स फ्री कर दिया है. ओल्ड टैक्स रिजीम में किसी तरह का बदलाव नहीं किया गया. टैक्स को लेकर कोई तय नियम नहीं है. यह सरकार की तरफ से समय-समय पर बदला जाता रहता है. आजादी के बाद से लेकर अब तक टैक्स हर सरकार लेती आ रही है. इतना ही नहीं आजादी से 82 साल पहले आम आदमी की इनकम पर टैक्स देने की व्यवस्था लागू कर दी गई थी.
1949-50 के बजट में इनकम टैक्स की दर
आजादी के बाद भारत में पहली बार 1949-50 के बजट में इनकम टैक्स की दरें तय की गई. इससे पहले 10 हजार तक की सालाना आमदनी पर 4 पैसे टैक्स चुकाना पड़ता था. बाद में इसे घटाकर 10,000 रुपये तक की आमदनी पर 3 पैसे कर दिया गया. वहीं 10 हजार से ज्यादा कमाने वालों को टैक्स के रूप में 1.9 आना देना होता था.
1500 रुपये की आमदनी टैक्स फ्री
1949-50 के बजट में इनकम टैक्स की दरें तय होने के बाद 1,500 रुपये तक की आय पर किसी तरह का इनकम टैक्स नहीं देना होता था. इस बजट में 1,501 रुपये से 5,000 रुपये तक की आय पर 4.69 प्रतिशत इनकम टैक्स का प्रावधान था. वहीं 5,001 रुपये से 10,000 रुपये तक की आय पर 10.94 प्रतिशत टैक्स चुकाना होता था.
31.25 प्रतिशत का भी इनकम टैक्स
इसके ऊपर 10,001 रुपये से लेकर 15,000 रुपये तक की आय वालों को 21.88 प्रतिशत के हिसाब से आयकर चुकाना पड़ता था. 15,001 रुपये से अधिक आय वालों के लिए इनकम टैक्स का स्लैब 31.25 प्रतिशत था. उसके बाद साल दर साल टैक्स के नियमों में बदलाव किए गए. अब बढ़कर टैक्स फ्री इनकम की लिमिट ढाई लाख हो गई है.
न्यू टैक्स रिजीम में टैक्स स्लैब
> तीन लाख तक की आमदनी टैक्स फ्री
> 3 से 6 लाख तक की आमदनी पर 5 प्रतिशत टैक्स
> 6 से 9 लाख तक की आय पर 10 प्रतिशत टैक्स
> 9 से 12 लाख तक की आमदनी पर 15 प्रतिशत टैक्स
> 12 लाख से ज्यादा की आमदनी पर 20 प्रतिशत टैक्स
ओल्ड टैक्स रिजीम में इनकम टैक्स दर
> 2.5 लाख रुपये की आय टैक्स फ्री
> 2.5 लाख रुपये से 5 लाख तक की आय पर 5 फीसदी
> 5 लाख से 7.5 लाख रुपये तक की इनकम पर 10 फीसदी
> 7.5 लाख रुपये से लेकर 10 लाख की आय पर 15 फीसदी
> 10 लाख से लेकर 12.5 लाख की आय पर 20 फीसदी टैक्स
> 12.5 लाख रुपये से लेकर 15 लाख तक आय पर 25 फीसदी
> 15 लाख रुपये से अधिक की आय पर 30 फीसदी टैक्स
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