Property : क्या प्रॉपर्टी गिफ्ट करने के बाद ले सकते हैं वापस, जानें लें क्या हैं नियम
Property : जिस तरह आप तमाम चीजें अपनों को गिफ्ट के रूप में देते रहते हैं, उसी तरह से प्रॉपर्टी भी आप अपने करीबी या किसी खास व्यक्ति को गिफ्ट कर सकते हैं. आप सिर्फ वही संपत्ति गिफ्ट (Gift Deed) के रूप में दे सकते हैं या किसी को दान कर सकते हैं जो आपके नाम पर रजिस्टर्ड हो. आइए जानते है इसके बारे में विस्तार से.
The Chopal : अगर आपने अपना घर, मकान, दुकान, खेत जैसी कोई भी प्रॉपर्टी किसी को गिफ्ट के तौर पर दे दी है और अब आप उसे वापस अपने नाम लेना चाहते है? तो आपके पास क्या कानूनी रास्ते बचे हैं. प्रॉपर्टी को गिफ्ट करने का मतलब है कि मालिक अपनी संपत्ति को अपनी मर्जी से किसी दूसरे व्यक्ति के नाम ट्रांसफर कर रहा है. इसके बदले में वो उससे किसी तरह का धन या मूल्य नहीं लेगा. ऐसे में प्रॉपर्टी को गिफ्ट करने के लिए व्यक्ति को सेल डीड की तरह बाकायदा गिफ्ट डीड तैयार करवानी होती है.
किस संपति को किया जा सकता है गिफ्ट
बता दें कि ये गिफ्ट आपको कानून के दायरे में रहकर देना होगा. इसको लेकर तमाम नियम बनाए गए हैं. प्रॉपर्टी गिफ्ट करने को लेकर नियम कहता है कि आप सिर्फ वही संपत्ति गिफ्ट के रूप में दे सकते हैं या किसी को दान कर सकते हैं जिसकी ओनरशिप में आपका नाम रजिस्टर्ड (Registered ownership) हो यानी कानून सिर्फ उसी व्यक्ति को संपत्ति गिफ्ट या दान करने की इजाजत देता है, जो कानूनी रूप से उस संपत्ति का मालिक हो.
क्या वापस ली जा सकती है गिफ्ट की गई संपत्ति
कानूनी तौर पर गिफ्ट में मिली प्रॉपर्टी को खारिज नहीं किया जा सकता. अगर गिफ्ट देने वाले ने अपनी प्रॉपर्टी अपनी मर्जी से दूसरे व्यक्ति को उपहार में दे दी और दूसरे व्यक्ति ने उसे स्वीकार कर लिया है. संपत्ति की मिल्कियत नए मालिक के नाम ट्रांसफर हो गई, तो सामान्य परिस्थितियों में इस ट्रांजैक्शन को रद्द नहीं किया जा सकता है. लेकिन कुछ असाधारण परिस्थितियों में ऐसा हो सकता है
ये हैं सस्पेंड करने के नियम
धारा 126 में कुछ विशेष परिस्थितियों का जिक्र किया गया है, जिनमें गिफ्ट डीड को रद्द किया जा सकता है. जैसे- आप जिस मकसद से संपत्ति को गिफ्ट कर रहे हैं, वो मकसद पूरा न हो तो आप गिफ्ट के तौर पर दी गई प्रॉपर्टी वापस ले सकते हैं. अगर गिफ्ट देने और लेने वाले, दोनों इस बात पर सहमत हों, तो आपसी रजामंदी से गिफ्ट डीड को सस्पेंड या रद्द कर सकते हैं. अगर गिफ्ट डीड पर दस्तखत के बावजूद प्रॉपर्टी ट्रांसफर नहीं हुई हो और बाद में गिफ्ट देने वाला अपना फैसला बदल ले, तो ऐसी हालत में भी उसकी मर्जी से गिफ्ट डीड रद्द हो सकती है.
इसके अलावा संपत्ति को गिफ्ट में देने वाला व्यक्ति पूरी तरह से मानसिक रूप से स्वस्थ होना चाहिए. अगर वो दिमागी रूप से अस्वस्थ है या गिफ्ट हासिल करने वाले ने दबाव डालकर, कोई फ्रॉड करके गिफ्ट को हासिल किया है, तो डीड को अमान्य घोषित किया जा सकता है.
ये पढ़ें - UP में इन डेढ़ करोड़ लोगों के बिजली बिल हुए माफ, योगी कैबिनेट ने दी मंजूरी