Delhi में तोड़ी जाएगी ये बिल्डिंग, लोगों को 30 तारीख तक खाली करने के निर्देश

दिल्ली विकास प्राधिकरण ने उत्तर-पश्चिमी दिल्ली के मुखर्जी नगर में स्थित बहुमंजिला 'सिग्नेचर व्यू अपार्टमेंट' को ध्वस्त करने की प्रक्रिया शुरू कर दी है। आइए इसके बारे में विस्तार से जानें।

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Delhi में तोड़ी जाएगी ये बिल्डिंग, लोगों को 30 तारीख तक खाली करने के निर्देश 

New Delhi : आधिकारिक दस्तावेजों के अनुसार, डीडीए ने ऑनलाइन बोलियां आमंत्रित की हैं और एक कंसल्टेंट फर्म को नियुक्त करने का निर्णय लिया है। शनिवार को अधिकारियों ने बताया कि डीडीए ने इस उद्देश्य के लिए एक ई-टेंडर नोटिस और प्रस्ताव की मांग जारी की है।

2007 से 2009 के बीच, "सिग्नेचर व्यू अपार्टमेंट" बनाया गया था। इस क्षेत्र में 336 एमआईजी और एचआईजी फ्लैट हैं। हालाँकि, फ्लैटों में कुछ ही समय बाद निर्माण संबंधी समस्याएं आने लगीं, जिससे स्थानीय निवासियों को डीडीए से शिकायत करनी पड़ी।IIST Delhi द्वारा डीडीए के आदेश पर 2021–2022 के अध्ययन में इमारत संरचनात्मक रूप से असुरक्षित पाई गई। 

डीडीए ने 'सिग्नेचर व्यू अपार्टमेंट' को 30 नवंबर तक खाली करने का लक्ष्य रखा है। सितंबर में, डीडीए ने स्थानीय निवासियों को दस्तावेज पर हस्ताक्षर करने के लिए 15 अक्टूबर तक का समय दिया था। सिग्नेचर व्यू अपार्टमेंट के निवासियों को 45 दिन का समय दिया गया था। 30 नवंबर के बाद, डीडीए इस अपार्टमेंट से बिजली और मेंटिनेंस सहित सभी सेवाओं को वापस ले लेगा।

ई-टेंडर नोटिस में लिखा है, 'ई-टेंडर (ऑनलाइन बोली) के माध्यम से मुखर्जी नगर, दिल्ली में सिग्नेचर व्यू अपार्टमेंट, जो एक बहुमंजिला परिसर है, के विध्वंस के लिए एक सलाहकार को नियुक्त करने हेतु पात्र आवेदकों से प्रस्ताव आमंत्रित किए जाते हैं. इसमें ध्वस्तीकरण के पश्चात मलबे की सफाई और पुनर्चक्रण (रीसाइक्लिंग) भी शामिल है.' नोटिस में, डीडीए अधिकारियों ने हाई राइज एक्सकेवेटर्स, विस्फोटक, डायमंड-कटिंग तकनीक आदि जैसे तरीकों का उपयोग करके संरचनाओं को ध्वस्त करने में न्यूनतम 20 वर्षों का अनुभव रखने वाली एक फर्म को काम पर रखने की मांग की है.

आरएफपी दस्तावेज में कहा गया है कि कंसल्टेंट फर्म की नियुक्ति 'छह महीने की अवधि के लिए होगी (एक महीने विध्वंस से पहले और 5 महीने विध्वंस और मलबे के निपटान/पुनर्चक्रण के दौरान), जिसे जरूरत पड़ने पर डीडीए द्वारा बढ़ाया जा सकता है. साथ ही यह भी कहा गया है कि डीडीए द्वारा कम से कम 30 दिन का नोटिस देकर कंसल्टेंट फर्म की नियुक्ति रद्द की जा सकती है. 

अधिकारियों ने कहा कि ई-टेंडर नोटिस के बारे में संभावित बिडर्स के संदेह को दूर करने के लिए प्री-बिड मीटिंग 6 नवंबर को आईटीओ के पास स्थित विकास मीनार में आयोजित की जाएगी. सिग्नेचर व्यू अपार्टमेंट के निवासियों ने अक्टूबर में मांग की थी कि डीडीए 100 प्रतिशत इवैकुएशन क्लॉज को 75 प्रतिशत मैंडेट में बदल दे, ताकि अस्थायी आवास में स्थानांतरित होने वाले लोगों को एजेंसी से किराया मिलना शुरू हो सके.

कंसल्टेंट फर्म का काम क्या होगा?

डीडीए द्वारा नियुक्त कंसल्टेंट एक प्रस्ताव तैयार करेगा, जिसमें 'सिग्नेचर व्यू अपार्टमेंट' को ध्वस्त करने के तरीके के बारे में जानकारी दी जाएगी. अपार्टमेंट को ध्वस्त करने के बाद उसके मलबे का फिर से निर्माण कार्य में इस्तेमाल किया जाएगा. कंसल्टेंट इस अपार्टमेंट के ध्चस्तीकरण और मलबे के निपटान में आने वाली लागत, इसके टूटने से होने वाले वायु प्रदूषण को रोकने के उपाय और आसपास की बिल्डिंग्स की सुरक्षा के तरीके सुझाएगा. अपार्टमेंट के ध्वस्तीकरण के लिए संबंधित विभागों से जरूरी अनुमति लेने में भी कंसल्टेंट डीडीए की मदद करेगा. इस ध्वस्तीकरण प्रक्रिया में डीडीए का कंसल्टेट बनने के लिए प्रस्ताव जमा करने की अंतिम तिथि 15 नंवबर है.

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