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गोचर भूमि को कब्जामुक्त करने के लिए अगस्त में चलेगा अभियान, लगाया जाएगा हरा चारा

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गोचर भूमि को कब्जामुक्त करने के लिए अगस्त में चलेगा अभियान, लगाया जाएगा हरा चारा

THE CHOPAL - पशुधन एवं दुग्ध विकास विभाग के कैबिनेट मंत्री धर्मपाल सिंह ने 11 जुलाई से 25 अगस्त तक एक अभियान चलाने का निर्देश दिया है। इस अभियान के तहत गोचर भूमियों को कब्जामुक्त करके हरा चारा उगाया जाएगा। इसके लिए, नैपियर घास को प्राथमिकता दी जाएगी और अभियान की प्रगति की पाक्षिक रिपोर्ट मुख्यालय को प्रस्तुत की जाएगी।

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इसके साथ ही, 13, 14 और 15 जुलाई को वरिष्ठ अधिकारी गोसंरक्षण स्थलों का स्थानिक निरीक्षण करेंगे और उन्हें सुनिश्चित करेंगे कि आवश्यक व्यवस्थाएं हैं। पशुधन मंत्री ने अपने कार्यालय में एक समीक्षा बैठक आयोजित की, जिसमें वह विगत तीन महीनों में किए गए कार्यों की समीक्षा की। गोआश्रय स्थलों की समीक्षा में, निरीक्षण के दौरान गोवंश के लिए आवश्यक व्यवस्थाएं सुनिश्चित की जाएंगी, जैसे कि टीन शेड, चारा-भूसा, पानी, प्रकाश और वर्षा ऋतु और बाढ़ के खतरों के लिए।

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इसके अलावा, वर्षा ऋतु में गोआश्रय स्थलों पर गोवंश को भीगने से बचाने के लिए टीन शेड की व्यवस्था की जाएगी। उन्होंने कहा है कि निराश्रित गोवंश को खेतों या सड़कों पर विचरण नहीं करना चाहिए, इसलिए अधिकारियों को निराश्रित गोवंश को आश्रय स्थलों पर पहुंचाने के लिए कठिनाइयों का सामना करना होगा। इन तीन महीनों में कुल 68 नए गोआश्रय स्थानों में 37,497 गोवंश संरक्षित किए गए हैं। अब तक कुल 6,781 गोआश्रय स्थानों पर 1,16,88,875 गोवंश संरक्षित किए गए हैं। अब तक कुल 58 लाख कुंतल भूसा एकत्र किया गया है।

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पशुधन एवं दुग्ध विकास विभाग के अपर मुख्य सचिव डॉ. रजनीश दुबे ने बताया कि गोचर भूमियों पर निर्धारित अवधि में यह अभियान चलाने से नैपियर घास की उत्पादन में वृद्धि होगी, जिससे गोआश्रय स्थलों में पशुओं के लिए हरा चारा उपलब्ध होगा और गोवंश को हरे चारे की समस्या नहीं होगी। उन्होंने कहा कि निराश्रित गोवंश को गोआश्रय स्थलों पर पहुंचाने की कार्यवाही निरंतर जारी है।