हरियाणा के किसानों की मौज, कम ब्याज दरों पर मिलेगा फसल लोन
Haryana Crop Loan Big Update : हरियाणा सरकार ने गेहूं, सरसों और अन्य फसलों के भुगतान के लिए धन की व्यवस्था की है। हरियाणा देश का पहला राज्य है, जिसे फसली ऋण की ब्याज दर 7.95 प्रतिशत होगी। इन फसलों के लिए सरकार को छह हजार करोड़ रुपये चाहिए होंगे। हरियाणा का बेहतर वित्तीय प्रबंधन ब्याज दरों में कमी लाया है।
The Chopal (Haryana News) : हरियाणा सरकार ने गेहूं, सरसों और अन्य फसलों के भुगतान के लिए धन की व्यवस्था की है। हरियाणा देश का पहला राज्य है, जिसे फसली ऋण की ब्याज दर 7.95 प्रतिशत होगी। इन फसलों के लिए सरकार को छह हजार करोड़ रुपये चाहिए होंगे। हरियाणा का बेहतर वित्तीय प्रबंधन ब्याज दरों में कमी लाया है। बैंकों ने सरकार को 8.05 प्रतिशत की ब्याज दर पर लोन दिया।
बैंक ने वित्त विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव अनुराग रस्तोगी से 8 प्रतिशत की ब्याज दर पर सहमति व्यक्त की, वे बातचीत और मोल-भाव के माध्यम से 7.95 प्रतिशत ब्याज दर का लोन लेने में कामयाब रहे। फसलों की खरीद शुरू हो चुकी है। सरकार ने फैसला किया है कि किसानों को उनकी फसलों का भुगतान सीधे उनके बैंक खातों में मिलेगा।
धान खरीदने के लिए भी सरकार ने लोन भी लिया
भारतीय खाद्य निगम (एफसीआई) फसलों की एवज में राज्य सरकार को धन लौटाते ही इसे सरकार वापस बैंक को लौटा देगी। धान खरीदने के लिए सरकार ने पहले भी लोन लिया था। धान मिलिंग के बाद एफसीआई को चावल भेजा जाता है, और एफसीआई ने सरकार को चावल की एवज में भुगतान शुरू किया है। सरकार ने एफसीआई से प्राप्त धन को बैंक लोन को भुगतान करना शुरू कर दिया है।
थर्मल प्लांट के लिए सरकारी धन
यमुनानगर में हरियाणा सरकार ने 800 मेगावाट का थर्मल पावर प्लांट बनाने का निर्णय लिया है। हरियाणा बिजली उत्पादन निगम लिमिटेड को पिछले बजट में ही सरकार ने 230 करोड़ से अधिक की राशि दी थी। इस बार के बजट में भी इस प्लांट के लिए धन रखा गया है। पावर प्लांट का शिलान्यास हो चुका है और इसके पूरा होने में लगभग तीन वर्ष लग सकते हैं।
60 प्रतिशत बजट सड़कों पर खर्च किया जाएगा
2023-24 के बजट में सरकार ने पीडब्ल्यूडी (भवन एवं सड़कें) विभाग को सड़कों की मरम्मत पर 50 प्रतिशत कुल बजट का खर्च करने का फैसला किया। सड़कों की मरम्मत और विस्तार पर इस लक्ष्य से अधिक पैसा खर्च किया गया, लगभग 60 प्रतिशत। इसके अतिरिक्त, राज्य में बनने वाले मेडिकल कॉलेजों का भी बजट चरणबद्ध रूप से प्रबंध किया जा रहा है।
अधिकांश बिल क्लीयर हैं
वित्त विभाग ने वित्तीय वर्ष 2022–2023 से जुड़े अधिकांश विभागों के बिल मंजूर किए हैं। रविवार को अवकाश होने के बावजूद, वित्त विभाग ने सभी बिलों को हल किया। विभाग 12 बजे तक काम करता रहा। 2023-24 के लिए पूर्व प्रधानमंत्री मनोहर लाल ने 1 करोड़ 89 लाख रुपये का बजट पेश किया था। 31 मार्च तक इसमें से 1 करोड़ 63 लाख रुपये से अधिक का बजट खर्च हो चुका था। इस वर्ष मनोहर लाल ने वर्ष 2024–25 के लिए 1 करोड़ 89 लाख रुपये का बजट प्रस्तुत किया है।
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